GSTR-1 के नाम से ही स्पष्ट है कि यह पहला रिटर्न फार्म है जो एक पंजीकृत व्यापारी जीएसटी पोर्टल पर FILL UP करते हैं, वैसे यह फार्म प्रत्येक माह के समाप्त होने के पश्चात आगामी 1 से 10 तारीख तक भरा जाता है, और इसमे विगत माह के बिक्री का विवरण दिया जाता है। तिमाही रिटर्न भरने का विकल्प का चुनाव करने वाले इसे तिमाही समाप्त होने के पश्चात भरते हैं।
वास्तव में यह प्रॉफिट एंड लॉस खाते के बिक्री खाते का ही विवरण होता है बस हम जो भाड़ा बिल में चार्ज करते हैं वह भी बिक्री विवरण में जोड़ा जाता है जब कि यह भाड़ा प्रॉफिट एंड लॉस में बिक्री विवरण में नहीं होता है।
GSTR-1 वह माहवार अथवा तिमाही का विवरण है जिसमें एक पंजीकृत व्यापारी अपने द्वारा किए गए सामानों और सेवाओं की समस्त आपूर्ति की जानकारी GST Department को देता है।
GSTR-1 एक स्वनिर्मित ऑनलाइन फार्म है, जिसमे आप ने जिस भी व्यापारी को Tax Invoice जारी किया है, उन समस्त व्यापारी के GST Number का उल्लेख करते हुए अपने द्वारा जारी Tax Invoice का विवरण दिया जाता है।
GST के अंतर्गत भरे जाने वाले अन्य फॉर्म के बारे में जानकारी के लिए पढ़े - जी एस टी रिटर्न के बारे में कुछ जानकारिया एवं उनको भरने की विधि
यह फार्म GST के अंतर्गत भरे जाने वाले अन्य समस्त FORMS का आधार है, जैसे आपने दर्शाया कि मैने श्रीमान राम के GST Number पर Rs.1000 का एक Tax Invoice काटा, अब आप के बिक्री विवरण से Department को यह पता चल गया कि श्रीमान राम ने आपसे कितनी खरीदारी की, और जब श्रीमान राम अपना बिक्री विवरण दाखिल करेंगे, तब Department उनके द्वारा अर्जित Tax और प्रॉफिट तक का अनुमान लगा लेंगी।
इसलिए यह GST का सबसे महत्वपूर्ण विवरण है, जिसे हम GSTR-1 FORMS के माध्यम से GST Department तक पहुंचाते हैं।
हालाँकि , यह return के रूप में पहला रिटर्न फॉर्म होता है और इसके अंतर्गत आप अपने शुद्ध बिक्री का विवरण देते है फिर भी इस फॉर्म के अंतर्गत 13 Section होते है, जिसे हम आवश्यकता अनुसार भरते है , आइये देखते है की वे 13 सेक्शन कौन - कौन से है -
GSTR-1 में कितने SECTION होते है ?
TABLE 1, 2 And 3 -
इस टेबल के अंतर्गत आप अपने कंपनी का GST Number, व्यापार का वैधानिक नाम और व्यापारिक नाम और उसका पिछले साल का वार्षिक टर्नओवर बताते है । हालाँकि इस पुरे विवरण को हमें भरने की आवश्यकता नहीं होती है , यह उपरोक्त फॉर्म में पहले से ही भरा होता है अपितु जब हम इस फॉर्म को GST Portal पर Online न भर कर , GSTR-1 को Offline Tools के माध्यम से भरते है , तब हमें इन विवरण को फॉर्म में भरने की आवश्यकता होती है।
TABLE 4-
इस टेबल में हम अपने उन बिक्री का विवरण देते है जो हमने जी एस टी में पंजीकृत व्यापारियों को की है , अगर खरीद करने वाले व्यापारी के पास UIN ( Unique Identification Number) ही है तो भी हम उसे रजिस्टर्ड व्यापारी मान कर उसको जो भी बिक्री किया है उसका विवरण यहाँ देते है , इस टेबल में हम सबसे पहले खरीद करने वाले व्यापारी का GST Number/ UIN भरते है , जिससे उस व्यापारी का नाम अपने आप दूसरे कॉलम में आ जाता है , फिर हम उपरोक्त व्यापारी को बिक्री किये जाने वाले invoice का नंबर और दिनांक की प्रविष्टि करेंगे , फिर हम उस Invoice की कुल राशि का प्रविष्टि अगले कॉलम में करेंगे। तत्पश्चात यहाँ आप से उस राज्य का बिक्री कोड माँगा जाएगा , जिस राज्य में आपने बिक्री की है , इसको चुनने के लिए यहाँ पूरी LIST दी हुई है , हम SCROLL करते हुए यह चुन सकते है , फिर आपके सामने टैक्स रेट का अलग - अलग कॉलम आते है , आपने उपरोक्त वर्णित INVOICE में GST की जो RATE चार्ज की है उस कॉलम के सामने आप उसका TAXABLE VALUE लिख दीजिये , आगे उस पर लगे TAX का AMOUNT अपने आप आ जाएगा , अब आप उसका मिलान अपने SALE INVOICE से कर लीजिये , अगर सब कुछ सही है , तब इसको SAVE कर ले , और उसके बाद दूसरे INVOICE की भी बिक्री विवरण इसी प्रकार दर्ज कर लीजिये।
TABLE 5-
इस टेबल में हम अपने उन बिक्री का विवरण देते है जो जी एस टी में अपंजीकृत व्यापारियों को किया गया है और बिक्री भी अपने राज्य से बाहर किया गया है और जो बिक्री की गई है उसका मूल्य भी रुपया 2,50,000 से अधिक है।
TABLE 6-
इस टेबल में हम अपने उन बिक्री का विवरण देते है जो ZERO RATE पर की गई है , इस टेबल में हम DEEMED EXPORT को भी दर्शा सकते है।
TABLE 7 -
इस टेबल में हम अपने उन बिक्री का विवरण देते है जो जी एस टी में अपंजीकृत व्यापारियों को किया गया है और हमने ऊपर दर्शाये गए टेबल -5 के अंतर्गत नहीं दिखाया है , तो बचे हुए बिक्री के विवरण को हम यहाँ दिखाएंगे , यहाँ पर हम बिक्री , डेबिट नोट और क्रेडिट नोट को पहले ही एडजस्ट कर के सिर्फ शुद्ध बिक्री ( NET SALE VALUE) की रकम को ही दर्शाएंगे।
TABLE 8 -
यहाँ हम अन्य SUPPLY जैसे कि NIL RATED SALE, EXEMPTED SALE और ऐसी बिक्री का विवरण देते है जो की जी एस टी के दायरे में नहीं आते है।
TABLE 9 -
यह टेबल भूल सुधारने के लिए बनाया गया है , यदि आपने अपने पिछले रिटर्न में कोई गलत सूचना दे दी है तो आप उसका संशोधन यहाँ पर कर सकते है। इस टेबल में आप अपने पिछले रिटर्न में भरे गए टेबल 4 , 5 और टेबल 6 के गलत विवरण का संशोधित विवरण भर सकते है , यहाँ पर आप पिछले रिटर्न में दर्शाये गए क्रेडिट नोट और डेबिट नोट का भी संशोधित विवरण डाल कर सही कर सकते है।
TABLE 10 -
इस टेबल के अंतर्गत आपने अपने अपंजीकृत व्यापारियों को जारी किये गए डेबिट नोट और क्रेडिट नोट की जानकारी देते है।
TABLE 11 -
इस टेबल के अंतर्गत आपने अपने CUSTOMERS से माल की SUPPLY करने के लिए लिए गए ADVANCE का विवरण देना पड़ता है , साथ ही आपने उन ADVANCES का ADJUSTMENT कैसे किया है उसका भी विवरण देना पड़ता है , साथ ही साथ आपके द्वारा इस सेक्शन में अपने पिछले रिटर्न में कोई गलत सूचना दे दी है तो उसका शंशोधन भी आप यहाँ कर सकते है।
TABLE 12 -
इस टेबल के अंतर्गत आप अपने द्वारा किये गए बिक्री का विवरण पुनः देते है लेकिन इस बार आप यह विवरण HSN CODE के अंतर्गत देते है अर्थार्थ किस HSN CODE के अंतर्गत आपने कितनी बिक्री की है और उस पर कितना टैक्स बना इसका विवरण आप यहां देते है।
TABLE 13 -
इस टेबल में आपने अपने CUSTOMERS को जो भी DOCUMENTS ISSUED किया है उसका विवरण देना देना पड़ता है। सबसे पहले हमने अपने माल की बिक्री को करने के लिए जो भी TAX INVOICE जारी किया है उसके SERIAL NUMBER का विवरण , हमने कितना ISSUE किया कितना CANCELED किया उसका भी विवरण देना पड़ता है।
TABLE 14 -
यह टेबल उन व्यापारियों के लिए है जो कि ON LINE PLATFORME पर बिक्री करते है , इसके लिए यहाँ पर अलग से सेक्शन इसलिए है की ऑन लाइन प्लेटफॉर्म को धारा 52 के अंतर्गत TCS कलेक्ट करना पड़ता है और उसे डिपार्टमेंट को जमा करना पड़ता है।
TABLE 14A -
यहाँ पर हम टेबल -14 में विगत माह में दर्शाये गए गलत विवरण को संशोधित कर सकते है।
TABLE 15 -
यह टेबल E-COMMERCE OPERATOR के लिए होता है , यह टेबल भी दो भागो में होता है -
TABLE 15 (1) -
यहाँ पर E-COMMERCE OPERATOR के द्वारा टेबल 15 में यदि कोई गलत सूचना दी गई है तब उसका संशोधन इस टेबल में किया जाता है , इस टेबल में हम B2B के अंतर्गत रजिस्टर्ड व्यापारी का संशोधन करते है।
TABLE 15 (2 ) -
यहाँ पर E-COMMERCE OPERATOR के द्वारा टेबल 15 में यदि कोई गलत सूचना दी गई है तब उसका संशोधन इस टेबल में किया जाता है , इस टेबल में हम B2C के अंतर्गत आने वाले कस्टमर्स के विवरण का संशोधन करते है।
उपरोक्त समस्त विवरण को पढ़ कर आपको लगता होगा कि GSTR-1 रिटर्न भरना काफी मुश्किल भरा काम है , इसको भरने में काफी समय लगेगा। लेकिन आप घबराइए नहीं , यदि आप TALLY SOFTWARE का इस्तेमाल करते है , तो यह फॉर्म मिनटों में तैयार होकर GST PORTAL पर अपलोड हो जायेगा , इसके लिए आप पदे - TALLY के द्वारा GSTR-1 RETURN कैसे तैयार करे।
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